ਪੰਜਾਬ

मंत्रीमंडल द्वारा वित्तीय जि़म्मेदारी और बजट प्रबंधन एक्ट में संशोधन करने का फैसला

मंत्रीमंडल द्वारा वित्तीय जि़म्मेदारी और बजट प्रबंधन एक्ट में संशोधन करने का फैसला
  • PublishedMarch 2, 2020

वर्ष 2019-20 में 928 करोड़ रुपए का अतिरिक्त उधार लिया जा सकेगा

चंडीगढ़, 2 मार्च:मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व में मंत्रीमंडल द्वारा पंजाब वित्तीय जि़म्मेदारी और बजट प्रबंधन एक्ट-2003 में संशोधन करने का फ़ैसला किया है जिससे कुल राज्य घरेलू उत्पादन (जी.एस.डी.पी.) की तीन प्रतिशत की उधार सीमा के अलावा वर्ष 2019-20 के लिए 928 करोड़ रुपए का अतिरिक्त उधार लेने के लिए राज्य को इजाज़त मिल सकेगी।

यह खुलासा करते हुए मुख्यमंत्री कार्यालय के एक प्रवक्ता ने बताया कि मंत्रीमंडल ने पंजाब वित्तीय जि़म्मेदारी और बजट प्रबंधन एक्ट-2003 की धारा-4 की उप धारा 2 के क्लॉज-ए में ज़रूरी संशोधन करने की मंजूरी दे दी है।केंद्र सरकार द्वारा राज्यों को वित्तीय प्रबंधन में पेश आ रही मुश्किलों और वर्ष 2019-20 के दौरान केंद्रीय करों में राज्यों की हिस्सेदारी राशि की तबदीली में हुई कमी को ध्यान में रखते हुए राज्यों को राहत देने के लिए केवल एकमुश्त विशेष वितरण के तौर पर 29 राज्यों को वर्ष 2019-20 के दौरान उनकी प्रात्रता से परे 58,843 करोड़ का अतिरिक्त उधार लेने की मंजूरी दी गई है।

पंजाब वित्तीय जि़म्मेदारी और बजट प्रबंधन (एफ.आर.बी.एम.) एक्ट-2003 राज्य सरकार द्वारा लिए जाने वाली उधार रकमों, ऋणों और घाटों की सीमाएं निर्धारित करके राज्य सरकार की वित्तीय कार्यवाहियों में और ज्य़ादा पारदर्शिता लाकर और मध्यम अवधि के ढांचे सम्बन्धी राजस्व नीति अपनाकर पर्याप्त राजस्व आय प्राप्त करके और राजस्व घाटे ख़त्म करके और वित्तीय तौर पर बने रहने की योग्यता के अनुरूप संयमी ऋण प्रबंध अपनाकर वित्तीय प्रबंध और इंटर जैनेरेशनल इक्वटी और दीर्घकालीन वित्तीय स्थिरता को यकीनी बनाने सम्बन्धी राज्य सरकार की जि़म्मेदारी के लिए उपबंध करने के लिए और उससे आकस्मिक तौर पर या जुड़े हुए मामलों के लिए बनाया गया था।तेरहवें वित्त आयोग की सिफ़ारशों के अनुसार वर्ष 2011 में इस एक्ट में आखिरी संशोधन किया गया था।इससे पहले मुख्यमंत्री के साथ कैबिनेट मंत्रियों ने प्रगतिशील बजट के लिए वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल और उनके विभाग को बधाई दी।

Written By
The Punjab Wire