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स्वास्थ्य मंत्री ने लिया एमरजैंसी के पहले 24 घंटों के दौरान कोई मुफ़्त सेवाएं न होने सम्बन्धी जारी पत्र को तुरंत वापस लेने के आदेश

स्वास्थ्य मंत्री ने लिया एमरजैंसी के पहले 24 घंटों के दौरान कोई मुफ़्त सेवाएं न होने सम्बन्धी जारी पत्र को तुरंत वापस लेने के आदेश
  • PublishedFebruary 14, 2020

चंडीगढ़, 14 फरवरी:स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री स. बलबीर सिंह सिद्धू ने डायरैक्टोरेट स्वास्थ्य सेवाओं द्वारा जि़लों को जारी पत्र जिसमें सरकारी अस्पतालों में एमरजैंसी मैडीकल ट्रीटमेंट के लिए पहले 24 घंटों के दौरान कोई मुफ़्त सेवाएं न होने पर 1 से 5 साल तक की बच्चियों के लिए भी मुफ़्त इलाज की सुविधा न होने संबंधी कहा गया है, को तुरंत वापस लेने के आदेश दिए हैं।

यहाँ जारी एक प्रैस बयान में इस सम्बन्धी जानकारी देते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने स्पष्ट किया कि उक्त पत्र अनजाने में पी.एन.डी.टी. डिवीजऩ द्वारा सरकार की किसी मंज़ूरी के बिना जारी किया गया था। उन्होंने कहा कि यह मामला उनके ध्यान में लाया गया और उन्होंने इस पत्र को तुरंत रद्द करने के आदेश दिए हैं।स. बलबीर सिंह सिद्धू ने दोहराया कि सरकारी अस्पतालों में एमरजैंसी के पहले 24 घंटों के दौरान और 1-5 साल तक की लडक़ी के लिए मुफ़्त इलाज की सुविधा दी जा रही है और यह सेवाएं पहले की तरह ही लोगों के लिए मुफ़्त रहेंगी।

स्वास्थ्य मंत्री ने आगे बताया कि कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार राज्य भर में मानक स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए वचनबद्ध है। इसीलिए मुख्यमंत्री ने सरबत सेहत बीमा योजना शुरू की है जिसके अधीन राज्य की तकरीबन 2.2 करोड़ आबादी को कवर किया गया है। उन्होंने कहा कि यह प्रमुख स्कीम भी राज्य के लोगों के लिए वरदान साबित हो रही है।इस स्कीम के अधीन दी जाने वाली स्वास्थ्य सेवाओं संबंधी जानकारी देते हुए कैबिनेट मंत्री ने बताया कि सरबत सेहत बीमा योजना के अंतर्गत पहले ही 1,54,513 मरीज़ मुफ़्त इलाज का लाभ ले चुके हैं और उनके इलाज पर 176.75 करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं।

इस योजना संबंधी और जानकारी देते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि 41,36,980 ई-कार्ड जनरेट किये गए हैं और राज्य भर के 692 अस्पतालों को सूचीबद्ध किया गया है। उन्होंने बताया कि इस स्कीम के अंतर्गत अब तक तकरीबन 2,860 दिल के ऑपरेशन, 4,557 जोड़ों के ऑपरेशन, 2,564 कैंसर ट्रीटमेंट और 28,342 डायलेसिस किये जा चुके हैं।———-

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The Punjab Wire