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गुरदासपुर, पटियाला और फिऱोज़पुर में तीन डिस्ट्रिक अरली इंटरवैंशन सैंटर स्थापित करने को मंजूरी

गुरदासपुर, पटियाला और फिऱोज़पुर में तीन डिस्ट्रिक अरली इंटरवैंशन सैंटर स्थापित करने को मंजूरी
  • PublishedJanuary 8, 2020

चंडीगढ़, 8 जनवरी: पंजाब के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने पटियाला, गुरदासपुर और फिऱोज़पुर में बच्चों के लिए तीन डिस्ट्रिक अरली इंटरवैंशन सैंटर स्थापित करने को मंजूरी दी है। डी.ई.आई.सी. (डिस्ट्रिक अरली इंटरवैंशन सैंटर) का उद्देश्य जन्म के समय होने वाले 4 डी-डिफैक्ट्स जैसी बीमारियाँ, कमी और विकास में देरी होने संबंधी ज़रूरी जानकारी के साथ-साथ इलाज की सेवाएं प्रदान करना है। इनमें 31 अपंगता रोग भी शामिल हैं।

यह प्रगटावा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री स. बलबीर सिंह सिद्धू ने यहाँ एक प्रैस बयान में किया। इस सम्बन्धी और जानकारी देते हुए मंत्री ने बताया कि इस समय जि़ला बठिंडा, होशियारपुर, लुधियाना, रोपड़ और तरन तारन में पाँच डी.ई.आई.सी. मौजूद हैं और हरेक डी.ई.आई.सी. में मैडीकल अफ़सर (एम.बी.बी.एस.), दाँत का डॉक्टर, अरली इंटरवैंशन -कम- स्पैशल ऐजूकेटर, फिज़ीओथैरापिस्ट, ऑपटोमैट्रिस्ट, समाज सेवक, मनोवैज्ञानिक, लैब टैकनीशियन, स्टाफ नर्स, डी.ई.आई.सी प्रबंधक के साथ दाँत के टैकनीशियन मौजूद हैं। उन्होंने बताया कि अब, गुरदासपुर, पटियाला और फिऱोज़पुर में 3 नये डी.ई.आई.सी को मंज़ूरी मिल गई है।

आर.बी.एस.के. के अधीन सूचीबद्ध 31 बीमारियों के निरीक्षण किये गए बच्चों को रेखांकित करते हुए उनको टरशरी स्तर पर सजऱ्री समेत मुफ़्त इलाज मुहैया करवाए जाने संबंधी बोलते हुए श्री बलबीर सिंह सिद्धू ने बताया कि दिल की जन्मजात बीमारियाँ (सी.एच.डी) और इस साल 2.96 करोड़ की लागत के साथ पी.जी.आई.एम.आर चंडीगढ़, डी.एम.सी और सी.एम.सी अस्पताल लुधियाना और फोर्टिस अस्पताल एस.ए.एस में रूमेटिक दिल की बीमारी (आर.एच.डी) से पीडि़त 316 बच्चों का मुफ़्त इलाज करना  शामिल है। उन्होंने आगे कहा कि ‘‘राज्य सरकार बहुत जल्द आर.एच.डी. / सी.एच.डी. के मुफ़्त इलाज के लिए और अस्पतालों का प्रबंध भी करने जा रही है जिससे पीडि़त बच्चों को आसान इलाज सेवाएं मुहैया करवाई जा सकें।

मंत्री ने आगे बताया कि इसी तरह प्राइमरी इम्यूनोडैफीशैंसी डिज़ीज़ (पीआईडीडी) से पीडि़त 15 बच्चों, थैलेसीमिया से पीडि़त 247 बच्चों, न्युरल ट्यूब डिफैक्ट 5 बच्चे, जन्मजात मोतिया वाले 3 बच्चे, संवेदनशील विकार वाले 2 बच्चे, नजऱ की कमज़ोरी वाले 2 बच्चे, सुनने में समस्या वाले 3 बच्चे और 1.45 करोड़ की एस.ए.एम /स्टंटिंग वाले 10 बच्चों का इलाज किया। उन्होंने कहा कि वित्तीय साल 2017-18 के दौरान 6.35 करोड़ की मुफ़्त इलाज सुविधाएं प्रदान की गई।

आर.बी.एस.के के अधीन सूचीबद्ध 31 बीमारियों की सूचीजन्मजात बिमारियां कमी बच्चों की बिमारियां डिवैल्पमैंटल डिलेज़ एंड डिसएबिलिटीज़ 
1. न्यूरल ट्यूब डिफैक्ट 2. डाउन सिंडरोम 3. क्लैफ्ट लिप और पैलेट / केवल क्लैफ्ट पैलेट 4. टेलीप्स 5.डिवैल्पमैंटल डिसप्लैसिया ऑफ द हिप 6. कन्जेनटल कैटारैक्ट 7. कन्जेनटल डैफनैस8. कन्जेनटल हार्ट डिसीजि़ज़ (सीएचडी)9. रैटीनोपैथी ऑफ प्रीमैच्युरिटी 10. अनीमिया (ख़ास कर) गंभीर अनीमिया11. विटामिन ए की कमी (बिटोट स्पॉट)12. विटामिन डी की कमी (रिकेट्स)13. गंभीर अति कुपोषण14. गोइटर 15. चमड़ी की स्थिति16. ओटाईटस मीडिया17. रूमैटिक हार्ट डिज़ीज़ (आरएचडी)18. रिएक्टिव एयरवे डिज़ीज़19. दाँतों की बिमारियां20. कन्वलसिव डिसओर्डर  21. नजऱ की कमज़ोरी22. सुनने की कमज़ोरी23. न्यूरो-मोटर कमज़ोरी24. मोटर डिले25. कॉगनिटिव डिले26. लैंगवेज डिले 27. बिहेवियर डिसओर्डर 28. लर्निंग डिसओर्डर29. अटैन्शन डैफिसिट हाईपरएक्टीविटी डिसओर्डर 
30.   थैलेसीमिया31. प्राइमरी इम्युनो डैफिशियंसी डिसओर्डर

Written By
The Punjab Wire