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एफ.डी.ए ने ‘ट्रैमाडोल’ की 12 लाख गोलियाँ कीं ज़ब्त

एफ.डी.ए ने ‘ट्रैमाडोल’ की 12 लाख गोलियाँ कीं ज़ब्त
  • PublishedDecember 21, 2019

जनवरी से नवंबर, 2019 तक उल्लंघन करने वालों के 701 लाइसेंस किये मुअत्तल

चडीगढ़, 21 दिसंबर:राज्य में लत डालने वाली दवाओं की ग़ैर-कानूनी खऱीद-फऱोख्त पर रोक लगाने के लिए एफडीए (फूड सेफ्टी एंड ड्रग ऐडमिनस्ट्रेशन) द्वारा सभी थोक और परचून दवाएँ बेचने वाले लाइसेंस धारकों की निरंतर जांच की जा रही है जिसके अंतर्गत अमृतसर की एफ.डी.ए. टीम ने ड्रग्ज़ एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट, 1940 के अंतर्गत ‘ट्रामाडोल’ की लगभग 12 लाख गोलियाँ ज़ब्त कीं, जिनकी कीमत 85 लाख रुपए बतायी जाती है।

यह जानकारी आज यहाँ से जारी एक प्रैस बयान में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने दी।स. बलबीर सिंह सिद्धू ने जानकारी देते हुए बताया कि बलीन कौर, ड्रग्ज़ कंट्रोल अफ़सर, अमृतसर और करुण सचदेव ज़ोनल लाइसेंसिंग अथॉरिटी (ड्रग्ज़) की एक टीम ने रोज़मर्रा की जांच करने के लिए एक स्थानीय फर्म रेवनभेल फार्मास्यूटीकल्ज़ (प्राईवेट) लिमिटेड, 7-ए, बाबा बूढ्ढा जी ऐवीन्यू, जी.टी. रोड अमृतसर का दौरा किया और पाया कि फर्म ड्रग्ज़ सेल्ज लाइसेंस धारक है और एलोपैथिक दवाओं की बिक्री और वितरण के लिए स्टॉक रख सकती है। परन्तु फर्म को इतनी बड़ी संख्या में ‘ट्रामाडोल’ की गोलियां स्टॉक करने की विशेष अनुमति नहीं मिली थी। उक्त फर्म ने ऐसी अनुमति के लिए आवेदन दिया था परन्तु सम्बन्धित लाइसेंसिंग अथॉरिटी से अभी अनुमति प्राप्त नहीं हुई थी। उन्होंने बताया कि ड्रग्ज़ और कॉस्मेटिक्स नियम, 1945 के नियम 66 (1) अधीन फर्म के खि़लाफ़ कार्यवाही करने के लिए नोटिस जारी किया गया है और आगे की जांच प्रक्रियाधीन है।राज्य सरकार द्वारा लगाई गई पाबंदियों का उल्लंघन करने वाले थोक और परचून ड्रग्ज़ लाइसेंस धारकों के विरुद्ध की गई कार्यवाही की तरफ ध्यान दिलाते हुए मंत्री ने कहा कि जनवरी से नवंबर, 2019 तक 701 लाइसेंस मुअत्तल किये गए जिनमें 600 लाइसेंस आम उल्लंघन और 101 लाइसेंस लत डालने वाली दवाओं सम्बन्धी उल्लंघन करने के लिए मुअत्तल किये गए। उन्होंने कहा कि इस समय के दौरान 2 लाइसेंस रद्द भी किये गए हैं। इसी तरह एफ.डी.ए द्वारा डिफॉल्टरों के विरुद्ध 87 मुकद्मे चलाने के आदेश जारी किये जा चुके हैं और 102 मुकद्मे शुरू किये गए हैं।स. बलबीर सिंह सिद्धू ने दोहराया कि कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार राज्य में से नशों की बुराई को ख़त्म करने के लिए वचनबद्ध है और इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए उल्लंघन करने वालों और डिफॉल्टरों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही की जा रही है। उन्होंने यह भी कहा कि राज्य सरकार ने राज्य में दवाओं की 8 किस्मों की बिक्री पर रोक लगाई है जिनमें नशीली दवाएँ जैसे कि डीफनोक्सीलेट, डैक्स्ट्रोप्रोफोक्सीफीन, कोडीन और उसके सॉल्ट, बिप्रेनोरफीन, पेंटाज़ोसीन, नाईट्राज़ीपाम और उसके सॉल्ट और ट्रामाडोल आदि शामिल हैं। उन्होंने कहा कि थोक और परचून विक्रेताओं को उक्त दवाओं का स्टॉक रखने से पहले सम्बन्धित लाइसेंसिंग अथॉरिटी से विशेष अनुमति लेनी पड़ती है और सिफऱ् उन कैमिस्टों को ही इसकी अनुमति मिलती है जिनकी दुकानें हस्पताल के अंदर या बाहर मौजूद हैं।

Written By
The Punjab Wire