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मुख्यमंत्री लोगों से किए वादे पूरे करें यां इस्तीफा देः सरदार परकाश सिंह बादल

मुख्यमंत्री लोगों से किए वादे पूरे करें यां इस्तीफा देः सरदार परकाश सिंह बादल
  • PublishedFebruary 13, 2020

कहा कि केंद्र तथा राज्य के सत्ताधारियों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि देश को संविधान में दर्ज धर्मनिरपेक्ष लोकतांत्रिक मुल्यों के अनुरूप चलाया जाए

सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि पंजाबी मुख्यमंत्री को शिरोमणी कमेटी को तोड़ने की आज्ञा नही देंगे

राजा सांसी/13फरवरीः अकाली सुप्रीमो तथा पंजाब के पांच बार मुख्यमंत्री रह चुके सरदार परकाश सिंह बादल ने मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को लोगों से किए वादे पूरे करने यां इस्तीफा देने के लिए कहते हुए कहा कि केंद्र तथा राज्यों के सत्ताधारियों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि देश को संविधान में दर्ज धर्मनिरपेक्ष तथा लोकतांत्रिक मुल्यों के अनुरूप चलाया जाए।

आज यहां एक बड़ी रोष रैली, जिसमें पूर्व विधायक अमरपाल सिंह बोनी अजनाला दोबारा पार्टी में शामिल हो गए, को संबोधित करते हुए सरदार बादल ने कहा कि मुख्यमंत्री लोगों से किया कोई भी वादा पूरा करने में विफल रहा है, यही कारण है कि लोग उससे हिसाब लेने के लिए बड़ी संख्या में एकत्र हुए हैं।

सरदार बादल ने देश के अंदरूनी सामाजिक तथा राजनीतिक माहौल पर गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होने कहा कि धर्मनिरपेक्षता के पवित्र सिद्धांतों की जरा सी अनदेखी भी हमारे देश को कमजोर कर सकती है। राज्यों में सत्ता मेें बैठे तथा बाकी व्यक्तियों को भारत की एक धर्मनिरपेक्ष लोकतंत्र के तौर पर रक्षा तथा संभाल के लिए मिलकर काम करना चाहिए। यह वह विरासत है, जो हमें महान गुरु साहिबान, संतों तथा फकीरों से मिली है। यही वह विरासत है, जो हमें आने वाली पीढ़ियों के लिए छोड़कर जानी चाहिए।

इस अवसर पर भावुक होते हुए सरदार बादल ने कहा कि सरकारों तथा राजनीतिक पार्टियों ने हिंदूओं, मुसलमानों तथा बाकी भाईचारों को नजदीक लाने के लिए काम करना चाहिए। नफरत तथा कड़वाहट के लिए हमारी जिंदगी में कोई जगह नही होनी चाहिए। देश का माहौल ऐसा होना चाहिए कि अल्पसंख्यक न सिर्फ सुरक्षित तथा सम्मानित महसुस करें बल्कि राष्ट्र निर्माण में बराबर के भागीदार भी महसुस करें।

यह टिप्पणी करते हुए कि वह अपने अनुभव से बोल रहे हैं, पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि मां-पार्टी को छोड़ने वाला कोई भी व्यक्ति कामयाब नही हो सकता। उन्होने कहा कि सुखदेव सिंह ढ़ींडसा तथा सरदार रणजीत सिंह ब्रहमपुरा जैसे वरिष्ठ नेताओं ने पार्टी से जो पद मांगा, वही मिला, पर फिर भी उन्होने पंथक विरोधी ताकतों के पीछे लगकर पार्टी की पीठ में छूरा घोपा है।

इस अवसर पर ‘चाहता है पंजाब कैप्टन से हिसाब’ के नारों के बीच जनसभा को संबोधित करते हुए अकाली अध्यक्ष सरदार सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि लोग कैप्टन अमरिंदर को शिरोमणी गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी को तोड़ने में कामयाब नही होने देंगे। उन्होने दशम् पिता के नाम पर झूठे वादे करके लोगों को बेवकूफ बनाने के लिए मुख्यमंत्री को फटकार लगाई। उन्होने कहा कि किसानों, युवाओं यां गरीबों से किया कोई भी वादा पूरा करना तो भूल ही जाओ, कांग्रेस सरकार बहबलकलां पुलिस फायरिंग के मुख्य गवाह की रक्षा करने में भी विफल रही है। उन्होने कहा कि कांग्रेसी नेताओं गुरप्रीत सिंह कांगड़ तथा कुशलदीप सिंह ढ़िल्लों के गवाह पर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ गवाही ने देने के लिए भारी दबाव डालकर उसे मौत के मुंह में धकेल दिया।

अकाली दल अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस के बुरे प्रबंध तथा घोटालों के कारण पंजाब में बिजली बहुत महंगी हो गई है। उन्होने कहा कि कांग्रेसी नेताओं ने प्राईवेट थर्मल प्लांटों के प्रबंधकों के साथ अंदरूनी तौर पर सौदेबाजी करके सरकारी खजाने को 4100 करोड़ रूपए का चूना लगा दिया है। उन्होने कहा कि इस कुप्रबंधन का शिखर यह है कि 3 रूपए प्रति यूनिट खरीदी बिजली उपभोक्ताओं को 9 से 10 रूपए प्रति यूनिट बेची जा रही है। उन्होने कहा कि यह इसीलिए हुआ है, क्योंकि सरकार पीएसपीसीएल को कोई पैसा नही दे रही है तथा इसने बिजली विभाग को अपना बकाया लोगों से वसूलने के लिए कह दिया है।

मुख्यमंत्री को निकम्मा करार देते हुए अकाली दल अध्यक्ष ने कहा कि कैप्टन अमरिंदर न कोई काम करता है तथा न ही लोगों से मुलाकात करता है। उन्होने कहा कि यही कारण है कि विकास कार्य ठप्प होकर रह गए हैं। उन्होने पंजाबियों को विश्वास दिलाया कि सत्ता में आने के बाद उनके द्वारा न सिर्फ सरकारी नौकरियों में भर्ती शुरू की जाएगी, बल्कि समाज के गरीब वर्गों को 400यूनिट बिजली निःशुल्क दी जाएगी।

वरिष्ठ नेता सरदार बिक्रम सिंह मजीठिया ने बताया कि किस तरह गन्ना उत्पादकों के 350 करोड़ रूपए के बकाया अभी तक नही दिए गए हैं। उन्होने अपने अधिकारों के लिए प्रदर्शन कर रहे लोगों के खिलाफ किए जा रहे अत्याचारों के बारे भी बताया।

इस अवसर पर संबोधित करते हुए अमरपाल सिंह बोनी अजनाला ने बताया कि वह पहले भी अकाली थे तथा हमेशा ही अकाली ही रहेंगे। उन्होने कहा कि जब उन्होने देखा कि टकसाली धड़ा असल में कांग्रेस का एक फ्रंट है तो उनका मोहभंग हो गया तथा उन्होने इस धड़े को छोड़ दिया।

इस अवसर पर अन्य के अलावा गुलजार सिंह रणीके, जगमीत सिंह बराड़,वीर सिंह लोपोके, विरसा सिंह वल्टोहा,लखबीर सिंह लोधीनंगल, रविकरण काहलों, मलकीत सिंह एआर, गुरप्रताप सिंह टिक्का,तलवीर सिंह गिल तथा चरनजीत सिंह बराड़ ने भी संबोधित किया।

Written By
The Punjab Wire