कपड़ा, कृषि, स्टील और ऑटोमोटिव सैक्टरों में विकास की गति में और तेज़ी लाने की अपील

प्रसिद्ध उद्योगपतियों ने मुख्यमंत्री से की अपील

एस.ए.एस. नगर (मोहाली), 6 दिसंबर। प्रसिद्ध उद्योगपतियों ने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह से अपील की कि कपड़ा, एग्रो और फूड प्रोसेसिंग, स्टील, ऑटोमोबाईल और ऑटो पार्टस सैक्टरों में विकास की गति में और तेज़ी लाई जाये क्योंकि इन सैक्टरों में और आगे बढऩे की अथाह सामथ्र्य है।
प्रगतिशील पंजाब निवेशक सम्मेलन -2019 की समाप्ति के मौके पर एक विशेष सैशन के दौरान राजय में उद्योग के लिए शांतमई और कुशल शक्ति का मज़बूत आधार होने के मद्देनजऱ इस संबंध में सभी की साझी राय उभर कर सामने आई। उद्योगपतियों ने मुख्यमंत्री को जो ख़ुद भी सैशन में उपस्थित थे, इन सैक्टरों में विकास की गति में तेज़ी लाने के लिए कहा।
इस सैशन में वर्धमान स्पैशल स्टील के एम.डी सचित जैन ने संचालन किया जबकि पैनल में इंटरनेशनल ट्रैक्टर के उप चेयरमैन ए.एस. मित्तल, ट्राइडैंट ग्रुप के चेयरमैन रजिन्दर गुप्ता, नाहर ग्रुप के एम.डी. कमल ओसवाल, बंज इंडिया के चेयरमैन समीर जैन और एयर एशिया के सी.ई.ओ सुनील भासकरन शामिल थे।
इनमें से बहुत से उद्योगपति पंजाबी हैं जिन्होंने पंजाब को मुल्क के औद्योगिक नक्शे पर अग्रणी राज्य के तौर पर उभारने के लिए राज्य सरकार द्वारा किये जा रहे यत्नों को पूरा सहयोग देने का प्रण लिया।
चर्चा की शुरुआत करते हुए सचित जैन ने कहा कि पंजाब में मज़बूत औद्योगिक माहौल है जो उद्योग ख़ासकर निर्माण के क्षेत्र में अगुआ रोल अदा कर सकता है। उन्होंने कहा कि राज्य के पास सूचना प्रौद्यौगिकी के विकास की बहुत संभावनाएं हैं, ख़ासकर नयी औद्योगिक नीति के संदर्भ में यह संभावनाएं और भी बढ़ी हैं क्योंकि इस नीति को उद्योगपक्षीय बनाने के लिए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह के निजी यत्नों स्वरूप उद्योगपतियों के साथ सलाह-परामर्श करने के बाद इस नीति को अंतिम रूप दिया गया।
 राज्य सरकार की निवेशपक्षीय पहुँच बारे अपने निजी तजुर्बे को साझा करते हुए श्री जैन ने कहा कि निवेश पंजाब ने मौजूदा नीति की कमियों को दूर करके उद्योगपतियों को अपने प्रोजैक्ट लगाने के लिए प्रेरित करने हेतु प्रयास किया।
विचार-विमर्श में हिस्सा लेते हुए रजिन्दर गुप्ता ने कहा कि वह अपनी कंपनी की सफलता का सेहरा पंजाब राज्य औद्योगिक विकास निगम को देते हैं क्योंकि उनको आग्रिम कजऱ् देकर अपना कारोबार शुरू करने की सुविधा दी गई थी और अब राज्य के लिए कुछ करने की बारी उनकी है। श्री गुप्ता ने कहा कि उन्होंने जहाँ बरनाला जिले में अपनी टेक्स्टाईल ईकाइयों में बहुत बड़ा निवेश किया है, वहीं कार्पोरेट सामाजिक जि़म्मेदारी के तौर पर ग्रामीण क्षेत्र में बच्चों की पढ़ाई और अन्यों की भलाई पर 10 करोड़ रुपए का निवेश कर रहे हैं। उन्होंने ‘दसवंध’ के संकल्प की वकालत करते हुए बाकी उद्योगपतियों को राज्य में सामाजिक कार्य के लिए दिल खोलकर योगदान डालने का न्योता दिया।
 ए.एस. मित्तल ने जापानी कंपनी यानमर के साथ अपना तजुर्बा साझा किया जिससे होशियारपुर में मैनुफ़ेक्चरिंग फैसिलिटी में गुणवत्ता सुधारने में नेतृत्व मिला। उन्होंने जापान आधारित सप्लायर और विक्रेताओं को आटो पार्ट के क्षेत्र में स्थानीय स्तर पर सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योगों में निवेश करने के लिए उत्साहित करने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया जिससे उनके उत्पाद का मानक अंतरराष्ट्रीय मापदण्डों मुताबिक होगा।
सुनील भासकरण ने कहा कि उनका ग्रुप हवाई संपर्क को अधिक से अधिक यकीनी बनाने के लिए सभी संभावनाएं तलाश रहा है जिससे क्षेत्र में कारोबारी गतिविधियों को सुविधा मुहैया करवाई जा सके।
कमल ओसवाल ने कहा कि नाहर ग्रुप लुधियाना में 300 करोड़ रुपए की लागत से 45 एकड़ क्षेत्रफल में लौजिस्टिक पार्क की स्थापना कर रहा है और इसके अलावा ग्रीन इंडस्ट्री के लिए 2000 करोड़ रुपए की लागत से एक और औद्योगिक पार्क की स्थापना का उद्यम किया जो हाऊसिंग, मॉल्ज़ और परचून की सहूलतों पर आधारित है।
समीर जैन ने कहा कि पंजाब में निवेश का अनुेकूल माहौल है और निवेश पंजाब की तरफ से यह सम्मेलन करवाना सही दिशा में उठाया गया कदम है जिससे राज्य और अधिक निवेश आकर्षित करेगा।
 इससे पहले जर्मन कंपनी वरबीयो ग्लोबल की सी.ओ.ओ ओलिवर लुटके ने धान की पराली से बायो फ्यूल की स्थापना में पंजाब सरकार के साथ अपना तजुर्बा साझा किया। उन्होंने कहा कि यह प्रोजैक्ट धान की पराली का प्रयोग करेगा जिससे स्थानीय स्तर पर सप्लाई चेन बनेगी जिससे ग्रामीण इलाकों में रोजग़ार के साधन पैदा होंगे और पराली जलाने से पैदा होते प्रदूषण की समस्या से मुक्ति मिलेगी।

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