श्रीराम मंदिर निर्माण के लिए निधि समर्पण अभियान का भगवान श्री वाल्मीकि तीर्थ से हुआ शुभारम्भ ।

अमृतसर: 14 जनवरी । भगवान श्री राम की जन्मस्थली अयोध्या में बनने वाले भव्य मंदिर के लिए श्रीराम जन्मभूमि मंदिर निर्माण निधि समर्पण अभियान की शुरुआत मकर संक्रांति वीरवार से पवित्र ग्रंथ रामायण के रचयिता भगवान श्री वाल्मीकि जी के पावन तीर्थ स्थान श्री वाल्मीकि तीर्थ (राम तीर्थ) पर नतमस्तक हो आशीर्वाद लेकर श्रीराम मंदिर निर्माण धन संग्रह समिति अमृतसर के सरंक्षक डॉ. रजनीश अरोड़ा की अध्यक्षता में शुरू किया गया। इस अवसर पर महन्त हैप्पी भील जी, श्री वाल्मीकि तीर्थ ट्रस्ट द्वारा इस अभियान की सफलता के लिए भगवान श्री वाल्मीकि जी के समक्ष अरदास की गई तथा सभी को आशीर्वाद दिया गया । यह अभियान 27 फरवरी माघ पूर्णिमा तक चलेगा। अभियान को लेकर सभी तैयारियों हो चुकी हैं। पहले से ही गांव-गांव, कस्बों, शहरों में जागरूकता रैलियां, प्रभात फेरियां निकाली जा रही हैं। उन्होंने कहा कि भगवान श्री राम की जन्मभूमि को पुन: प्राप्त कर देश के सम्मान की रक्षा के लिए हिन्दू समाज ने पांच सदियों तक संघर्ष किया।

डॉ. रजनीश अरोड़ा ने इस अवसर पर बताया कि अयोध्या में होने श्री राम मंदिर का निर्माण जन संपर्क कार्यक्रम के जरिए लोगों से घर-घर से एकत्रित किए गए धन से ही किया जाएगा क्योंकि न्यास इसके लिए कोई सरकारी मदद नहीं लेगा। उन्होंने कहा कि देश की हर जाति, मत, पंथ, संप्रदाय, क्षेत्र, भाषा के लोगों के सहयोग के साथ श्री राम मंदिर वास्तव में ‘राष्ट्र मंदिर’ का रूप लेगा और श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र मंदिर निर्माण के लिए देश भर में जन संपर्क एवं योगदान अभियान शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि इस अभियान के जरिए श्री राम मंदिर के प्रस्तावित नए मॉडल की तस्वीरें भी करोड़ों घरों में पहुंचेंगी और रामभक्तों से स्वैछिक दान मंजूर किया जाएगा और इसके लिए 10, 100 और 1000 रुपये के कूपन एवं बड़ी राशी के लिए रसीद बुक उपलब्ध कराए जाएंगे। इस अवसर पर श्री वाल्मीकि तीर्थ ट्रस्ट के जी.एम्. पी.कुमार द्वारा उपस्थित सभी गणमान्य लोगों को सम्मानित किया गया।

इस अवसर पर श्री कंवल कपूर समिति के संयोजक, हरदीप दुग्गल सह-संयोजक, रमेश शर्मा अध्यक्ष श्री दुर्ग्याणा तीर्थ कमेटी, श्री अरुण खन्ना महामंत्री श्री दुर्ग्याणा तीर्थ कमेटी के अतिरिक्त अनेक धार्मिक व समाजिक संस्थाओं के गणमान्य लोग उपस्थित थे।

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